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जेल में कैदी की मौत के बाद कैदियों ने की भूख हड़ताल

जेल में कैदियों के स्वास्थ्य परीक्षण के लिए चिकित्सक एवं वार्डब्वाय की नियुक्ति चाह रहे कैदी

(संजीव प्रताप सिंह)

सिवनी (साई)। सिवनी के जिला जेल में कथित तौर पर इलाज के न मिलने पर कैदी की मौत के मामले में जेल में निरूद्ध अन्य कैदियों ने जमकर बवाल काटा। जेल में बंद लगभग चार सैकड़ा कैदी इससे नाराज होकर भूख हड़ताल पर चले गए, बाद में जेल प्रशासन की समझाईश से कैदी माने।

जेल के उच्च पदस्थ सूत्रों ने समाचार एजेंसी ऑफ इंडिया को बताया कि एनडीपीएस एक्ट के तहत एक विचाराधीन बंदी ने बीते दिवस दम तोड़ दिया। सिवनी जिले के धूमा निवासी गेंदलाल (65) पुत्र धन्नालाल साहू गांजा बेचने के आरोप में जेल में हैं। वे लंबे समय से अस्थमा रोग से ग्रसित थे। बुधवार की रात को अचानक उनकी हालत बिगड़ी, उन्हें जिला चिकित्सालय ले जाते समय उन्होंने रास्ते में ही दम तोड़ दिया।

सूत्रों ने आगे बताया कि इसके बाद ब्रहस्पतिवार को कैदियों ने जमकर हंगामा किया। कैदियों ने भूख हड़ताल भी आरंभ कर दी। कैदियों का आरोप था कि सिवनी के जेल में चिकित्सक कभी कभी ही आते हैं, इसके अलावा वार्ड ब्वाय का पद भी लंबे समय से रिक्त ही पड़ा हुआ।

सूत्रों ने यह भी बताया कि कैदियों का आरोप था कि जेल में बंद गेंदलाल अस्थमा बीमारी से गंभीर रूप से ग्रस्त थे। उन्हें समय पर इलाज नहीं मिलने से उन्होंने दम तोड़ दिया। कैदियों का यह भी आरोप था कि जो गेंदलाल के साथ हुआ वह अन्य किसी कैदी के साथ भी हो सकता है, इसलिए जेल में स्वास्थ्य सुविधाओं में बढ़ोत्तरी की मांग कैदियों के द्वारा की जा रही थी।

इस संबंध में जेल अधीक्षक अदिति चतुर्वेदी ने समाचार एजेंसी ऑफ इंडिया से चर्चा के दौरान बताया कि जिला चिकित्सालय के एक चिकित्सक महीने में लगभग दस बार जेल में निरूद्ध कैदियों के स्वास्थ्य परीक्षण के लिए आते हैं, पर कैदियों की मांग नियमित एवं स्थाई चिकित्सक की है।

एक बंदी की मौत बुधवार को हुई है, वह अस्थमा का मरीज था। कैदियों ने स्थाई चिकित्सक की तैनाती की मांग की है। इस मामले में शासन स्तर पर फैसला लिया जाता है। फिलहाल अनुविभागीय अधिकारी राजस्व, विधायक सिवनी, जेल अधीक्षक नरसिंहपुर आदि की समझाईश के उपरांत कैदी मान गए हैं।

अदिति चतुर्वेदी,

जेल अधीक्षक,

सिवनी.


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